बीते से निकल कर आज में पहुँचा ही अंधेरे से उजाले को पाना है। इस सुंदर कविता दिवाली प्रकाश को अति प्रकाशमान बना दिया हैबहुत सुंदर दिवाली कविता...
Good one. Keep the spirits high always.And no shayad...its all well and good.love and blessings.
उम्मीद बनाए रखिए, शायद नहीं ज़रूर बहुत कुछ अच्छा होगा...
thank you for your visit to my blog. looking forward to many more.
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4 comments:
बीते से निकल कर आज में पहुँचा ही अंधेरे से उजाले को पाना है। इस सुंदर कविता दिवाली प्रकाश को अति प्रकाशमान बना दिया है
बहुत सुंदर दिवाली कविता...
Good one. Keep the spirits high always.And no shayad...its all well and good.love and blessings.
उम्मीद बनाए रखिए, शायद नहीं ज़रूर बहुत कुछ अच्छा होगा...
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